अध्याय-समीक्षा
- भारत सबसे अधिक फलों और सब्जियों का उत्पादन करता है।
- रोपण कृषि में एक लंबे चौड़े भूखंड पर एक ही फसल बोई जाती है।
- भारत में चाय, कॉफ़ी, रबड़, गन्ना, केला इत्यादि मुख्य रोपण फसलें हैं।
- भारत में मुख्य रूप से चावल, गेहूँ, मोटे अनाज, दालें (दलहन), चाय, कॉफी, गन्ना, तिलहन, कपास, जूट इत्यादि फसलें उगाई जाती हैं।
- रबी फसलें अक्टूबर से दिसबंर के मध्य में बोई जाती हैं और ग्रीष्म ऋतु में अप्रैल से जून के मध्य काट ली जाती है। गेहूँ, जौ, मटर, चना और सरसों आदि मुख्य रबी फसलें हैं।
- खरीफ़ फसलें देश के विभिन्न क्षेत्रों में मानसून के आगमन के साथ जून से बोई जाती हैं और सितंबर-अक्टूबर में काट ली जाती है।
- खरीफ ऋतु की मुख्य फसलें चावल, मक्का, ज्वार, बाजरा, अरहर, मूँग, उड़द, कपास, जूट, मूँगफली और सोयाबीन हैं।
- भारत में अधिकांश लोगों का खाद्यान्न चावल है। भारत चीन के बाद दूसरा सबसे बड़ा उत्पादक देश है।
- ज्वार, बाजरा, रागी, मिलेट भारत में उगाए जाने वाले मुख्य मोटे अनाज हैं।
- भारत का विश्व में दालों के उत्पादन में अग्रणी स्थान है।
- भूमि को जोतने, बोने, फसलें उगाने, पशुओं को पालने की कला को कृषि कहते हैं।
- निर्वाह कृषि - ऐसी कृषि प्रणाली जिसमें किसान अपने परिवार का पोषण करने के लिए उत्पादन करता है। इसमें परंपरागत कृषि उपकरणों तथा तरीकों का प्रयोग किया जाता है।
- कर्तन-दहन प्रणाली - कृषि की ऐसी पद्धति जिसमें किसान जमीन के टुकड़े को साफ करके उन पर अनाज व अन्य खाद्य फसलें उगाते हैं। जब मृदा में उर्वरा शक्ति कम होने लगती है तब उस भूखंड को छोड़ दिया जाता है। फिर अन्य स्थान पर नया खेत बना लिया जाता है।
- गहन कृषि - इस पद्धति में अधिक उत्पादन के उद्देश्य से अधिक निवेश, आधुनिक उपकरणों, कीटनाशकों, उर्वरकों का प्रयोग किया जाता है।
- रोपण कृषि - एक प्रकार की वाणिज्यिक कृषि है जिसमें विस्तृत क्षेत्र में एकल फसल बोई जाती है। जिसमें अत्यधिक पूंजी निवेश व श्रम का प्रयोग होता है।
- शस्यावर्तन - भूमि की उत्पादन क्षमता बढ़ाने के लिए भूमि के किसी टुकड़े पर फसलें बदल-बदल कर बोना।
- चकबंदी - बिखरी हुई कृषि जोतों अथवा खेतों को एक साथ मिलाकर आर्थिक रूप से लाभ-प्रद बनाना।
- हरित क्रांति - कृषि क्षेत्र में अधिक उपज वाले बीजों का प्रयोग, आधुनिक तकनीक, अच्छी खाद, उर्वरकों का प्रयोग करने से कुछ फसलों विशेषकर गेहूँ के उत्पादन में क्रांतिकारी वृद्धि को हरित क्रांति कहते हैं।
- श्वेत क्रांति - दूध के उत्पादन में वृद्धि के लिए पशुओं की नस्लों को सुधारना, आधुनिक तकनीकों का प्रयोग किया गया। ‘ऑपरेशन फ्लड’ इसी कार्यक्रम का मुख्य भाग है।